केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने हरियाणा में भाजपा और जजपा का गठबंधन टूटने की वजह बताई।
उन्होंने कहा कि जेजेपी से गठबंधन झगड़ा करके नहीं टूटा है, हम अच्छे मूड में अलग हुए हैं। गठबंधन टूटने का कारण सीटों के बंटवारे पर सहमति नहीं बन पाना है।
इसके साथ उन्होंने हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल के कामकाज और काबिलियत की तारीफ की। उन्हें केंद्र में किसी बड़ी भूमिका में लिए जाने के संकेत भी दिए।
निजी चैनल में दिए इंटरव्यू में अमित शाह ने कहा कि JJP की सीटों को लेकर कुछ डिमांड थी, जिसे हम पूरा नहीं कर सकते थे।
जेजेपी का मानना था कि उन्हें अधिक सीटें मिलनी चाहिए, लेकिन हम उन्हें इतनी सीट नहीं दे सकते थे।
दोनों पार्टियों के बीच एक डिफरेंस ऑफ ऑपिनियन हुआ। जिसके बाद हम दोनों दलों ने चुनाव से पहले ही अलग होने का फैसला किया।
अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण में कहा था कि मनोहर लाल बहुत ही पुराने कार्यकर्ता हैं। हमारे अच्छे नेता हैं।
उनका उपयोग कहीं भी हो सकता है। हरियाणा में भी हो सकता है और केंद्र में भी हो सकता है।
अगर कोई ऐसे आकलन करना है कि चुनाव उनके नेतृत्व में लड़ा जाएगा या नहीं लड़ा जाएगा, यह किसी का दोष नहीं, बल्कि आकलन करने वाले का दोष है।
वहीं इससे पहले गठबंधन टूटने पर दुष्यंत चौटाला ने कहा कि हम 10 सीट देने को तैयार थे।
हमने मांग रखी की हरियाणा में सरकार बुढ़ापा पेंशन बढ़ाकर 5100 रुपये कर दें, लेकिन वह नहीं माने।