आम आदमी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष और कुरुक्षेत्र लोकसभा से ‘इंडिया’ गठबंधन के प्रत्याशी डॉ. सुशील गुप्ता ने बुधवार को पेहवा विधानसभा के गांव एवं वार्ड में चुनावी यात्रा शुरू की।
इस मौके पर आम आदमी पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष और पूर्व मंत्री बलबीर सैनी, गुरविंदर सिंह नट, रघुबीर सिंह, मंदीप सिंह, सरदार कंवरजीत सिंह प्रिंस, हरप्रीत चिमा, अमरीक सिंह, सरपंच साहब सिंह, गेहल सिंह संधू, हरमनदीप सिंह विर्क, एडवोकेट वीरभान और जगदीश राठी मौजूद रहे।
उन्होंने अपनी चुनावी यात्रा गांव खानपुर रोडान से शुरू की। इसके बाद वे गांव कमोदा में लोगों से मिले। वहां से खिजरपुरा में ग्रामीणों से रूबरू हुए। इसके बाद लोहार माजरा गांव में पहुंचे।
यहां से गांव गढ़ी रोडान, भोर साधन, मुकीम पुरा, गढ़ी सिंघा, गांव सिंहपुरा, गांव भैंसी माजरा, गांव सारसा, गांव मुर्तजापुर, गांव बीबीपुर और संधौली संधौला पहुंचकर लोगों को संबोधित किया और आशीर्वाद लिया।
इस दौरान उन्होंने बुजुर्गों और महिलाओं का आशीर्वाद लिया और “इंडिया” गठबंधन को भारी बहुमत से जिताने की अपील की। यात्रा का समापन शाम को पेहवा के गांव बलोचपुरा में हुआ।
उन्होंने कहा कि देश में अघोषित आपातकाल लगा हुआ है। देश के संविधान और लोकतंत्र को खत्म किया जा रहा है। भाजपा के पास चुनाव लड़ने के लिए प्रत्याशी ही नहीं है।
प्रधानमंत्री मोदी लोकसभा में चिल्लाकर जिसे कोयला चोर कह रहा था, 2014 से लेकर अब तक जिस पर कई एफआईआर हुई और जिसके पीछे ईडी लगी रही। वह आदमी 82 करोड़ रुपए का चंदा देने के बाद दूध का धुला हो गया। इतने मुकदमे होने के बाद कोयला चोर अब कोहिनूर हो गया।
उन्होंने कहा कि नवीन जिंदल आदमी खराब नहीं है लेकिन वह डरा हुआ है। यदि एक सांसद डर गया तो वह जनता का क्या ख्याल रखेगा। नवीन जिंदल डंडे के डर पर भाजपा में आया है। जबकि हमारे नेता कई कई साल से जेल में पड़े हैं लेकिन डरे नहीं।
उन्होंने कहा कि अब भाजपा ने अरविंद केजरीवाल को गिरफ्तार कर लिया और कांग्रेस के सभी खाते सील कर रखे हैं, लेकिन झुकेंगे नहीं। इंडिया गठबंधन को लोकसभा की सभी 10 सीटों पर जिताएंगे। सरकार की ये जो तानाशाही है ये सही नहीं है। किसान आंदोलन में युवा किसान शुभकरण को गोली मारी। उन्होंने कहा कि मैं 24 घंटे आपके बीच रहूंगा।
नवीन जिंदल 10 साल कुरुक्षेत्र लोकसभा से सांसद रहा, लेकिन किसी के पास उसका फोन नंबर तक नहीं है। सांसद ऐसा होना चाहिए जो कुरुक्षेत्र, कैथल, पेहवा, कलायत, पुंडरी, गुहला चिका और लाडवा की बात संसद में कर सके। कुरूक्षेत्र लोकसभा की समस्या दूर करे और यहां की लड़ाई लड़कर यहां का पैसा लेकर आए।