बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ को बढ़ावा देते हुए मुहल्ला मालीटीबा के सुनील खिंची ने अपनी पुत्री हिमांशी के विवाह में रविवार रात को घोड़ी पर बैठाकर बनवारा निकाला। उन्होंने बताया कि उनकी पुत्री हिमांशी का विवाह गादुवास नीमराणा के मोहित से होना तय हुआ है।
विवाह अवसर पर जिस प्रकार अपने पुत्रों का बनवारा निकाला जाता है, बेटी के विवाह की खुशी भी माता पिता को समान रूप से ही होती है।
आज के समय में बेटियां किसी भी मायने में बेटों से कम नहीं है, इसलिए बेटियों के प्रति भी समाज में जागरूकता लाने के लिए बेटी का बनवारा घोड़ी पर बैठाकर धूमधाम से निकाला गया है। यह समस्त समाज के लिए प्रेरणादायी संदेश है।
हमें आज के समय में लड़का-लड़की में कोई फर्क नहीं करना चाहिए, क्योंकि वर्तमान दौर में लड़का लड़की एक समान है और लड़कियां जीवन के हर क्षेत्र में लड़कों के साथ साथ कंधे से कंधा मिलाकर आगे बढ़ रही हैं। इस अवसर पर शिव कुमार खिंची, मुंशी खिंची, बिट्टु, हर्ष, शुभम व सभी परिजन उपस्थित रहे।
वर्ष 2008 में पहली बार राष्ट्रीय बालिका दिवस मनाने का दौर शुरू हुआ तो प्रदेश में प्रति हजार लड़कों के पीछे सिर्फ 854 लड़कियां जन्म ले रहीं थी।
15वां राष्ट्रीय बालिका दिवस मनाने जा रहे हैं तो बदली सोच के चलते यह आंकड़ा 916 पर पहुंच गया है। यानी कि 62 बेटियां ज्यादा जन्म ले रही हैं। हर साल 24 जनवरी को राष्ट्रीय बालिका दिवस मनाया जाता है।