
थानेसर के विधायक एवं पूर्व मंत्री अशोक अरोड़ा ने कहा कि देश संविधान और कानून से चलता है। नगरपरिषद थानेसर में संविधान और कानून को ताक पर रखकर उन्हीं बाहरी लोगों को हाऊस की बैठक में बिठाने की इजाजत दी गई, जिन्होंने 23 मई की बैठक में विघ्न डालकर सरकारी काम में बाधा पहुंचाई थी। अरोड़ा ने कहा कि जब तक सभी कायदे कानूनों को ताक पर रखकर बाहरी लोगों को बैठक में बैठने की इजाजत देना बंद नहीं किया जाता, तब तक वह नगरपरिषद की बैठक का बहिष्कार करेंगे। अरोड़ा अपने निवास स्थान पर पत्रकारों से वार्तालाप कर रहे थे। इस अवसर पर नगर पार्षद मनु जैन, नरेन्द्र राजू चौहान, राजेन्द्र सैनी, परमवीर सिंह प्रिंस तथा पार्षद प्रतिनिधि शिवम गुप्ता, पूर्व पार्षद गौरव शर्मा गौरी, विवेक भारद्वाज डब्बू सहित अनेक कांगे्रसी नेता उपस्थित थे।
अरोड़ा ने कहा कि बाबा साहेब भीमराव अम्बेडकर ने देश को संविधान दिया और देश संविधान के अनुसार ही चलता है, परन्तु नगरपरिषद थानेसर में जिस प्रकार से संविधान की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं, उसकी जितनी निंदा की जाए कम है। आज नगरपरिषद की बैठक में पालिका अधिनियम का हवाला देकर अनेक बाहरी लोगों को हाऊस की बैठक में बैठने की इजाजत दी गई, जो कि सरासर संविधान का उल्लंघन है। इन लोगों का बाबा साहेब द्वारा दिए गए संविधान में कोई भी विश्वास नहीं है। इसीलिए उन्होंने फैसला लिया है कि जब तक बाहरी लोगों का नगरपरिषद की बैठक में बैठना बंद नहीं किया जाता तब तक वह परिषद की किसी भी बैठक में भाग नहीं लेंगे। अरोड़ा ने कहा कि वह नगर के विकास और भ्रष्टाचार का मुद्दा उठाते रहेंगे। हलके की जनता ने उन्हें विधायक चुना है और एक विधायक का फर्ज निभाते हुए वह हलके के लोगों की आवाज विधानसभा सत्र में भी उठाते रहे हैं और आगे भी उठाते रहेंगे। भ्रष्टाचार की पोल भी खोलते रहेंगे। नगरपरिषद में व्यापक स्तर पर भ्रष्टाचार है और उन्होंने इस भ्रष्टाचार की पोल खोलनी शुरू की तो सत्तारूढ़ दल ने घबराकर उनके विरुद्ध साजिश रची लेकिन वह किसी भी प्रकार से षड्यंत्रों से डरने वाले नहीं हैं। जिला कष्ट निवारण समिति की बैठक में भी उन्होंने नगरपरिषद में सफाई घोटाले का पर्दाफाश किया था। उन्होंने कहा कि पिछले दिनों कुरुक्षेत्र विकास बोर्ड की बैठक में उन्होंने मुख्यमंत्री और राज्यपाल के सामने कुरुक्षेत्र के विकास के मुद्दे उठाए, ब्रह्मसरोवर के पूर्वी तट पर लगभग 60 एकड़ में खड़े सफेदे के जंगल को कटवाकर वहां भव्य पार्क बनाने, सन्निहित सरोवर में श्री गुरु हरमन्दिर साहिब की तर्ज पर स्वच्छ जल रखने के लिए सयंत्र लगाने तथा ब्रह्मसरोवर के पश्चिमी तट पर डम्पिक प्वाइंट खत्म करने जैसे महत्त्वपूर्ण मुद्दे उठाए, जिसे महामहिम राज्यपाल और मुख्यमंत्री ने तुरंत मंजूरी दी। अरोड़ा ने महामहिम राज्यपाल तथा मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि कुरुक्षेत्र का विकास करवाना उनकी ड्यूटी है और वे कुरुक्षेत्र के विकास की आवाज हर मंच पर उठाएंगे। भ्रष्टाचार के विरुद्ध अपनी लड़ाई जारी रखेंगे।
विधायक अशोक अरोड़ा ने एक सवाल के उत्तर में कहा कि मौनसून की पहली बरसात से ही नगरपरिषद की जल निकासी की पोल खुल गई है। पिछले 10 वर्षों से नालों की सफाई नहीं करवाई गई। जब उन्होंने जिला कष्टनिवारण समिति की बैठक में नालों की सफाई करवाने की आवाज उठाई तो आनन-फानन में नालों की सफाई का काम शुरू किया गया। अरोड़ा ने कहा कि उनकी किसी के साथ कोई निजी लड़ाई नहीं है, उनकी ड्यूटी तो कुरुक्षेत्र का विकास करवाना है।