आज हरियाणा पुलिस अकादमी मधुबन से थाना यातायात करनाल में 06 अंडर ट्ेनिंग डी.एस.पी. और 20 पी.एस.आई. यातायात व्यवस्था में आने वाली बाधाएं और उन बाधाओं को कैसे पार किया जा सकता है के संबंध में जानने के लिए पहुंचे।
जहां पर करनाल पुलिस की ओर से उप निरीक्षक सतपाल सिंह थाना यातायात द्वारा उन्हें बताया गया कि आज सड़कों पर यातायात को व्यवस्थित करना पुलिस के लिए एक बहुत बड़ी चुनौती है और इसके लिए सबसे पहले यातायात पुलिसकर्मी के तौर पर कार्य करने वाले कर्मचारी को अपने आसपास की सभी हाईवे/लोकल सड़कों और उन पर चलने वाले वाहनों कमर्शियल/पब्लिक वाहनों का ज्ञान हो व हर परिस्थिति में संयम व धैर्य बनाए रखने वाला हो।
उप निरीक्षक सतपाल सिंह ने सभी डी.एस.पी. और पी.एस.आई. को बताया कि यातायात डयुटी कई प्रकार की होती हैं और इसी प्रकार सभी डयुटीयों में अलग-अलग कार्य होते हैं। जैसे पी.आई.पी. डयुटी के दौरान निर्धारित मार्ग पर वारनींग कार के आने के बाद यातायात को बंद कर देना चाहिए और वी.आई.पी. के काफिले की अंतिम गाड़ी निकल जाने के बाद ही रास्ते को यातायात के लिए खोलें।
इस दौरान ध्यान रखें की कोई इमरजेंसी वाहन जैसे एम्बुलेंस या फायर ब्रिगेड आदि की गाड़ी हमारे द्वारा रोके गए यातायात में न फंसे। यदि हाईवे पर किसी गाड़ी का एक्सीडेंट हो जाता है या कोई बड़ा वाहन पलट जाता है तो हमें जल्द से जल्द अपने संसाधनों का प्रयोग करके अवरूद्व मार्ग को खुलवाना चाहिए ताकि जाम न लगे और यातायात सुगमता से चलता रहे।
वाहनों की चैकिंग के दौरान बैरिगेटींग इस प्रकार से होनी चाहिए कि वाहन चालक को बैरिगेटींग दूर से दिखे और वह अपनी स्पीड को धीमा करके ही वहां से निकल सके। हाईवे पर पैट्ोलिंग के दौरान किसी को वहां अनावश्यक गाड़ी न रोकने दें और यदि कोई वाहन अचानक खराब हो जाता है या कोई मैडिकल इमरजेंसी हो जाती है तो उसकी हर संभव सहायता करनी चाहिए।
अंत में उन्होंने कहा कि वाहनों की चैकिंग के दौरान ऐसी व्यवस्था सुनिश्चित करें कि उस स्थान पर जाम न लगे और यातायात सुचारू रूप से चलता रहे। इसके बाद सभी प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे, डी.एस.पी. व पी.एस.आई. द्वारा शहरी यातायात प्रबंधन के बारे में भी प्रशिक्षण प्राप्त किया गया।