आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ प्रदेश उपाध्यक्ष अनुराग ढांडा ने प्रेसवार्ता कर विदेश में फंसे युवाओं के मुद्दे पर हरियाणा सरकार को घेरा। इसके बाद उन्होंने चुनाव प्रचार को तेज करने के लिए जिला कार्यकारिणी की बैठक ली।
उनके साथ जिलाध्यक्ष गज्जन सिंह, मास्टर सतबीर गोयत, राकेश खानपुर, कुलभूषण शर्मा, करमजीत अटाल, जगजीत सिंह, राम कुमार, अमरीक सिंह, प्रदीप कुमार, हरजिंदर सिंह, लीला राम, सोनिया शर्मा और जितेंद्र सिंह मौजूद रहे। प्रेसवार्ता में उन्होंने कहा कि हरियाणा में बेरोजगारी को लेकर हालात बद से बदतर हैं और युवा रोजगार के लिए त्राहि त्राहि कर रहे हैं।
लेकिन खास तौर पर कैथल और कुरुक्षेत्र के क्षेत्र में बेरोजगारी की समस्या ने एक विकराल रूप धारण कर लिया है। जगह जगह पर बच्चे अपनी जमीन बेचकर विदेशों की ओर जा रहे हैं। आज ऐसे ही मटौर के कई युवा बेरोजगारी के कारण रूस गए जो रूस और युक्रेन के युद्ध में फंसे हैं।
हम जानना चाहते हैं कि सरकार इस विषय पर क्या कर रही है। कैथल से भाजपा का विधायक है, पूर्व मंत्री कमलेश ढांडा भी कलायत से ही हैं और मौजूदा मंत्री सुभाष सुधा भी कुरुक्षेत्र लोकसभा से ही हैं। लेकिन इसके बावजूद क्या इनमें से कोई भी उन पीड़ित परिवार से मिलने गया है?
उन्होंने कहा कि नायब सैनी आज भी कुरुक्षेत्र लोकसभा का नेतृत्व कर रहे हैं, जब तक चुनाव नहीं हो जाता। क्या उन्होंने इस मुद्दे पर संज्ञान लिया? प्रदेश के मुख्यमंत्री होने के नाते यदि वो चाहें तो विदेश मंत्रालय की मदद से तुरंत समाधान हो सकता है।
उन्होंने कहा कि नवीन जिंदल इस लोकसभा से प्रत्याशी हैं और बड़े उद्योगपति हैं। नवीन जिंदल पीएम मोदी को अच्छे से जानते हैं, जब वो पीएम मोदी से अपने कोयला घोटाले के दाग धुलवा सकते हैं तो क्या इन बच्चों को वापस लाने के लिए पीएम मोदी से एक बार भी अपील नहीं कर सकते।
उन्होंने कहा कि क्या भाजपा केवल सत्ता के लिए वोट मांगना जानती है। भाजपा इस मामले में किसी भी स्तर पर कोई दिलचस्पी नहीं दिखा रही है। मैं आज इस विषय पर विदेश मंत्री और प्रधानमंत्री को चिट्ठी लिख रहा हूं कि युवा काफी लंबे समय से रशिया में फंसे हुए हैं और इनको सुरक्षित लाना सरकार की जिम्मेदारी है।
उन्होंने कहा कि जब भाजपा सरकार आचार संहिता लगने के बावजूद ईडी और सीबीआई के माध्यम से विपक्षी नेताओं को जेल में डाल सकती है तो क्या विदेश में फंसे हुए अपने युवाओं को वापस नहीं ला सकती।
जो प्रधानमंत्री विज्ञापन के जरिए दावा करते हैं कि उन्होंने रशिया और युक्रेन का युद्ध कुछ घंटों के लिए रुकवा दिया था। क्या वो वहां पर फंसे अपने युवाओं को वापस नहीं ला सकते। इस विषय को कई सप्ताह हो चुके हैं और सबके संज्ञान में ये मामला है।
उसके बावजूद भी इस विषय पर भाजपा की अनदेखी बताती है कि भाजपा का अत्याचार युवाओं को केवल बेरोजगार रखने तक ही सीमित नहीं है बल्कि इनकी नजर में उनकी जिन्दगी की भी कोई कीमत नहीं है। आज हम प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री को चिट्ठी लिखकर इस मामले में तुरंत हस्तक्षेप की अपील करेंगे और युवाओं को सुरक्षित लाने की मांग करेंगे।