हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग ने प्रदेश के 10,000 से अधिक नौजवानों व नवयुवतियों को मेरिट के आधार पर ग्रुप-सी में नियुक्ति संबंधी परिणाम जारी कर एक बार फिर इस विश्वास को मजबूत किया है कि हरियाणा में अब ‘मनी’ का नहीं ‘मेधा ‘ का राज है।
भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता डॉ वीरेंद्र सिंह चौहान ने ग्रुप सी का अंतिम परिणाम घोषित होने के बाद प्रदेश के नौजवानों के चेहरों पर आयी मुस्कान पर टिप्पणी करते हुए यह बात कही।
उन्होंने कहा कि विपक्ष के शासन काल में सरकारी नौकरियां या तो जाति और जिला देख कर दी जाती थी या फिर खुले बाज़ार में दलालों के माध्यम से पैसे लेकर बेच दी जाती थी और इसके कारण राज्य के नौजवान और नवयुवतियां हरियाणा की सरकारी नौकरियों के बजाय अन्य राज्यों की परीक्षाओं की तैयारी करने लगे थे।
मुख्यमंत्री मनोहरलाल को इस बात का श्रेय जाता है कि उन्होंने खर्ची – पर्ची पर आधारित मेरिट के हत्यारों द्वारा बनाए गए भ्रष्टतंत्र पर करारी चोट की।
उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार ने अगर आज घोषित हुए नतीजों सहित 1,20, हज़ार से अधिक परिवारों को पारदर्शिता से और मेरिट के आधार पर रोजग़ार देकर अपने किस्म का एक रिकॉर्ड कायम किया है।
उन्होने आज के परिणाम से लाभान्वित हुए हरियाणवी नौजवानों और उनके परिवारों को बधाई देते हुए कहा कि यह अवसर केवल उन परिवारों के लिए ख़ुशी का अवसर नहीं है।
सरकार के पारदर्शी नियुक्ति मंत्र से भी हरियाणा का हर जाति और क्षेत्र का हर वह व्यक्ति गदगद हैं जो ईमानदारी से नौकरियां देने का पक्षधर हैं।