राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा बिहार की तर्ज पर राजस्थान में भी जातिगत जनगणना कराने के बयान पर पलटवार करते हुए गृह मंत्री अनिल विज ने कहा कि देश को एकजुट करने के बजाए उसको अलग-अलग हिस्सों में बांटने का कुत्सित प्रयास है।
उन्होंने कहा कि 70 साल के बाद हम सब भारतीय बनकर जीने चाहिए कि हम सब एक है हम सब भारतीय है। विज ने सवाल करते हुए कहा कि जो जातिगत जनगणना करवाए जा रहे है इसकी प्रमाणिकता क्या है?
इसका मतलब तो यह हो गया कि सरकार के हाथ में एक रजिस्टर आ गया जिसको चाहे वो जिस जाति में डाल दे, इसकी कोई प्रमाणिकता नहीं है और क्या जनगणना में आकर ही लोगों को लाभ मिलेगा। सैंकड़ों लोग कह रहे है, उन्हें आज तक आकर देखा नहीं गया।
विज ने कहा कि यह सब चुनावी खेल है, जो भी पार्टियां जातिगत गणना की पैरवी कर रही है उन्हें बताना चाहिए कि जितने साल वो सत्ता में रही है, उन्होंने इन जातियों के लिए क्या किया है।
वहीं, महबूबा मुफ्ती का कहना है की 75 साल में कोई दूसरा गांधी नहीं बना लेकिन बीजेपी के 10 साल के राज में कई गोडसे बन गए, के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए गृहमंत्री अनिल विज ने कहा कि दुर्भाग्यपूर्ण बात तो यह है कि यह शब्द उस नेता के मुंह से आ रहे हैं जिन्होंने न जाने कितने ही उग्रवादियों को पैदा किया है, आजादी के बाद से श्रीनगर में कितने ही कत्ल हुए हैं, आज वह लोग महात्मा गांधी और गोडसे की बात करते हैं, जिन्होंने देश का अमन और चैन छीन रखा है।