सरकार द्वारा जनकल्याण के लिए अनेक योजनाएं चलाई जा रही है। पीपीपी के माध्यम से ऑनलाईन पात्र दिव्यांगजनों की स्वचालित पेंशन बन जाएगी। ई-गवर्नेंस से सुशासन की दिशा में कदम बढ़ाते हुए इस पहल से प्रदेशवासी डिजिटल रूप से और अधिक सशक्त बनेंगे। प्रदेश सरकार ने प्रो-एक्टिव दिव्यांग पेंशन सेवा, ताऊ से पूछो व्हाट्सएप बॉट सेवा की शुरुआत कर दी है।
सरकार द्वारा लगभग सभी योजनाएं ऑनलाईन कर दी गई है। सरकार सभी सरकारी सेवाओं को लोगों के घर द्वार पर पहुंचाने के लिए वचनबद्ध है। इसी के चलते सरकार ने दिव्यांग व्यक्तियों को (ऑटोमेटेड) स्वचालित पेंशन का लाभ देने का फैसला किया है। सरकार ने दिव्यांग पेंशन को भी परिवार पहचान पत्र से जोडक़र स्वचालित रूप से पेंशन बनाने की दिशा में कदम बढ़ाया है।
परिवार सूचना डेटा में 60 प्रतिशत से अधिक दिव्यांग के रूप में सत्यापित दिव्यांगों के प्रासंगिक डेटा को हर महीने हरियाणा परिवार पहचान प्राधिकरण द्वारा प्रमाणित किया जाएगा। सत्यापन के बाद पात्र पाए गए ऐसे सभी दिव्यांगजनों का डेटा योजना द्वारा निर्धारित पात्रता मानदंड के अनुसार सेवा विभाग के साथ साझा किया जाएगा।
सेवा विभाग के जिला अधिकारी पेंशन शुरू करने के लिए इन नागरिकों की सहमति लेने के लिए उनके पास जाएंगे। सहमति प्रदान करने वाले सभी दिव्यांगों की अगले महीने से पेंशन शुरू कर दी जाएगी। उन्होंने कहा कि अब ऐसे सभी लाभार्थियों को अपना लाभ लेने के लिए कार्यालयों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे।
इसके समाधान के लिए हरियाणा परिवार पहचान प्राधिकरण ने वेब बेस्ड चैट बॉट सॉल्यूशन के साथ-साथ ताऊ से पूछो व्हाट्सएप बॉट बनाया है। व्हाट्सएप के साथ एकीकृत ताऊ से पूछो नामक व्हाट्सएप बॉट नागरिकों के प्रश्नों का तुरंत जवाब देगा। यह सबके लिए आसानी से सुलभ होगा और नागरिक अपने घर बैठे सरलता से व्हाट्सएप पर संवाद कर सकेंगे।
इस इंटीग्रेटेड डिजिटल प्लेटफॉर्म में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, मशीन लर्निंग और नेचुरल लैंग्वेज प्रोसेसिंग जैसी तकनीकों को जोड़ा गया है। इस प्लेटफार्म से नागरिकों के साथ-साथ सरकार का समय भी बचेगा। प्राप्त प्रश्नों का विश्लेषणात्मक अध्ययन निश्चित रूप से शिकायतों के निवारण की प्रक्रिया में सहायक सिद्ध होगा।