गीता जयंती समारोह के अवसर पर कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय तथा कुरुक्षेत्र विकास बोर्ड (केडीबी) के सहयोग से 5 से 7 दिसंबर, 2024 तक श्रीमद्भगवद् गीता आधारित संतुलित प्रकृति – शुद्ध पर्यावरण विषय पर 9वां अंतर्राष्ट्रीय गीता सम्मेलन आयोजित किया जाएगा।
कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा की अध्यक्षता में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय में 5 से 7 दिसम्बर तक आयोजित होने वाले अंतर्राष्ट्रीय गीता सम्मेलन की तैयारियों को लेकर बुधवार को कुवि के फैकल्टी लॉज में बैठक का आयोजन किया गया। कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा ने बैठक को सम्बोधित करते हुए बताया कि अंतर्राष्ट्रीय गीता सम्मेलन में देश-विदेश के गीता प्रेमी, विद्वान, गणमान्य अतिथि व अनेक देशों के प्रतिनिधि भागीदारी करेंगे व श्रीमद्भगवद् गीता आधारित संतुलित प्रकृति – शुद्ध पर्यावरण विषय पर चर्चा करेंगे। इस सम्मेलन के सफल आयोजन के लिए विभिन्न कमेटियों का गठन किया गया हैै जो सम्मेलन की पूरी व्यवस्था देखेंगे। सम्मेलन में मेहमानों के स्वागत, रहने खाने व ठहरने सहित अन्य सुविधाएं प्रदान करने के लिए तैयारियां की जा रही हैं ताकि मेहमानों को किसी भी प्रकार की असुविधा न हो।
अंतर्राष्ट्रीय गीता सम्मेलन के निदेशक प्रो. तेजेन्द्र शर्मा ने बताया कि कुलसचिव प्रो. संजीव शर्मा इस सम्मेलन के सलाहकार हैं तथा प्रो. वनिता ढींगरा, उपनिदेशक, प्रो. विवेक चावला आयोजन सचिव व डॉ. सलोनी पवन दिवान संयुक्त सचिव होंगी।
प्रो. तेजेन्द्र शर्मा ने बताया कि सम्मेलन के लिए कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा के आदेशानुसार अतिरिक्त प्लेनरी सत्र कमेटी, तकनीकी सत्रों के लिए कमेटी, पोस्टर प्रस्तुति, पर्चेज कमेटी, वेबसाइट कमेटी, फोटोग्राफी कमेटी, पब्लिकेशन एवं प्रिटिंग कमेटी, किट तथा मोमेंटो कमेटी, हास्पिटलेटी कमेटी, पंजीकरण व सर्टिफिकेट कमेटी, डेकोरेशन कमेटी, रिसेप्शन कमेटी, हेलीपेड रिसेप्शन कमेटी, सीटिंग अरेंजमेंट कमेटी, स्टेज मैनेजमेंट कमेटी, साउंड एंड लाईट अरेंजमेंट कमेटी, इलेक्ट्रिसिटी अरेंजमेंट कमेटी, एकोमोडेशन एंड ट्रांसपोटेशन कमेटी, सेनीटेशन कमेटी, इमेरजेंसी एंड मेडिकल हेल्प कमेटी, सिक्योरिटी कमेटी तथा मीडिया एवं पीआर कमेटी का गठन किया गया है। इन कमेटियों के संयोजक तथा अधिकारी पूरे सम्मेलन के सुचारू संचालन में सहयोग करेंगे।
लोक सम्पर्क विभाग के निदेशक प्रो. महासिंह पूनिया ने बताया कि कुवि में आयोजित होने वाले अंतर्राष्ट्रीय गीता सम्मेलन में विभिन्न तकनीकी सत्रों में गीता ज्ञान पर विद्वतजन अपने उद्बोधन देंगे। सम्मेलन का प्लेनरी सत्र पर्यावरण अध्ययन संस्थान द्वारा आयोजित किया जाएगा। प्रथम तकनीकी सत्र- प्रबंधन अध्ययन संस्थान और यूनिवर्सिटी स्कूल ऑफ मैनेजमेंट द्वारा भगवद् गीता का आत्मनिर्भर और विकसित भारत का दृष्टिकोण विषय पर, दूसरा तकनीकी सत्र- विधि विभाग द्वारा पारिस्थितिकी न्याय में गीता का महत्व पर, तीसरा तकनीकी सत्र- विधि संस्थान द्वारा पर्यावरण शासन में श्रीमद्भगवद्गीता की प्रासंगिकता, चौथा तकनीकी सत्र संस्कृत, पाली और प्राकृत विभाग और संस्कृत और इंडोलॉजिकल अध्ययन संस्थान द्वारा श्रीमद्भगवद्गीता में प्रकृति और पर्यावरण विषय पर आयोजित किया जाएगा।