November 23, 2024

भारत रत्न संविधान निर्माता डॉ. भीमराव अंबेडकर की 132वीं जयंती पर जिला स्तरीय कार्यक्रम का आयोजन गाबा अस्पताल के पीछे अंबेडकर नगर स्थित डा. बीआर अंबेडकर भवन में किया गया। डा. बीआर अंबेडकर चेरिटेबल सोसायटी द्वारा आयोजित कार्यक्रम में पूर्व परिवहन मंत्री एवं राज्यसभा सांसद कृष्ण लाल पंवार व नगर निगम मेयर मदन चौहान ने मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत की।

कार्यक्रम में मेयर मदन चौहान के आग्रह पर सांसद कृष्ण लाल पंवार ने 11 लाख रुपये डा. अंबेडकर भवन के विकास, 11 लाख रुपये गुरु नानक खालसा कॉलेज रोड स्थित गुरु रविदास मंदिर के विकास और पांच लाख रुपये जगाधरी अशोक विहार कॉलोनी स्थित अंबेडकर भवन के विकास के लिए देने की घोषणा की। इस दौरान मेयर चौहान ने डा. अंबेडकर जी की प्रतिमा पर अपने निजी खर्च से छत्र बनवाने की घोषणा की। कार्यक्रम में परीक्षाओं में अव्वल स्थान पर आने वाले विद्यार्थियों को राज्यसभा सांसद पंवार व मेयर चौहान ने पुरस्कार देकर सम्मानित किया। कार्यक्रम के दौरान अनेक संतों व वक्ताओं ने बाबा साहेब के जीवन पर प्रकाश डाला। नन्हें बच्चों ने सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति देकर व संतों व कलाकारों द्वारा भजन कीर्तन से डा. अंबेडकर की शिक्षाओं को बखान किया।

राज्यसभा सांसद कृष्ण लाल पंवार ने कहा कि भारत रत्न डा. अंबेडकर पूरा जीवन संघर्ष करते रहे। भेदभाव का सामना करते हुए उन्होंने अपनी शिक्षा पूरी की। आजादी की लड़ाई में शामिल हुए और स्वतंत्र भारत को एक लोकतांत्रिक राष्ट्र बनाने के लिए संविधान निर्माण में अतुलनीय भूमिका निभाई। बाबा साहेब ने पिछड़े और कमजोर वर्ग के अधिकारों के लिए पूरा जीवन संघर्ष किया। उन्होंने शिक्षित होकर समाज में फैली छुआछूत को समाप्त करने का काम किया। उन्होंने संविधान बनाकर दलित समाज को उनके अधिकार दिलाए।
आज सरकार द्वारा जिला स्तर पर उनकी जयंती मनाने का कार्य किया जा रहा है। सरकार आज डा. बीआर अंबेडकर जयंती, संत गुरु रविदास जी महाराज जयंती, महर्षि वाल्मीकि जयंती, कबीर जयंती समेत अनेक संतों महापुरुषों की जयंती जिला स्तर पर मनाने का फैसला लिया है। मेयर मदन चौहान ने कहा कि आज वह जिस पद पर है। वह डा. बीआर अंबेडकर की बदौलत है। यदि डा. अंबेडकर न होते तो वह आज मेयर न होते। उन्होंने कहा कि डा. अंबेडकर ने शिक्षित बनों, संगठित रहो और संघर्ष करो का नारा दिया था। शिक्षित बनने का अर्थ है कि हमारे ज्ञान के द्वार खुलते हैं और संगठित रहो का मतलब शक्ति प्राप्त करना हैं और इनके लिए संघर्ष करना है।
इसलिए युवाओं को डा. अंबेडकर के आदर्शों पर अमल कर शिक्षित बनकर देशहित में काम करना चाहिए। मौके पर समाज कल्याण बोर्ड की चेयरपर्सन रोजी मलिक आनंद, पूर्व विधायक ईश्वर सिंह, दाता राम, भाजपा जिला उपाध्यक्ष नितिन कपूर, भाजपा एससी मोर्चा के जिलाध्यक्ष धर्म सिंह मट्टू, डा. निर्मल दास, डा. विजय दहिया, डेरा कपाल मोचन से पहुंचे संत निर्मल दास, जसमेर सिंह, आयुष विभाग से सेवानिवृत निदेशक सतपाल बहमनी, अभी चंद, सोमप्रकाश नंबरदार, शिवराम, महंत जैनदास, कर्मचंद आदि मौजूद रहे।

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